ध्यान दीजें- इसके लिए एक मोमबत्तियाँ कैसे व्यापार करें घरेलू थर्मामीटर का प्रयोग कर मोम के तापमान पर नज़र बनाए रखिए। आप कुकिंग या क्राफ्ट स्टोर में से कैंडी या मोमबत्ती थर्मामीटर खरीद सकते हैं।
Mombatti Banane Ki Vidhi: इस दिवाली घर पर बनाए मोमबत्ती, यहां जाने कैसे बनाई जाती है Home Made Candle
घर पर मोमबत्ती बनाना (फोटो- सोशल मीडिया)
Mombatti Banane Ki Vidhi : रोशनी, उजाले, प्रकाश का त्योहार दीवाली हिंदूओं का सबसे बड़ा पर्व है। इस दिन लोग अपने घर, ऑफिस, कारखानों इत्यादि को जगमगा देते हैं। इसके लिए तरह-तरह के दिए, लाइट्स और मोमबत्ती का इस्तेमाल करते हैं। ऐसे में जो सबसे ज्यादा इस्तेमाल होने वाली चीज है वो है मोमबत्ती। इस मोमबत्ती को इस्तेमाल लोग घरों में यानी होम मेड तरीके से बनाकर भी करते हैं।
मोमबत्ती बनाने की विधि ( Make Homemade Candles )
घर पर मोमबत्ती बनाने के लिए सबसे लिए मोम की जरूरत पड़ती है। इसके लिए पैराफीन मोम चाहिए होता है।अधिकतर पैराफीन मोम से ही मोमबत्तियाँ बनाई जाती रही हैं और आज भी यही सबसे लोकप्रिय मोम है।
साथ ही इसका फायदा ये भी है कि यह जल्दी पिघल जाता है, सस्ता भी मिलता है। इस मोम में आसानी से रंगीन और खुशबूदार मोमबत्तियां बनाने के लिए रंग और इत्र मिलाया जा सकता है। बस ध्यान देने वाली बात ये है कि मोम को पिघलाते समय जो रसायन निकलते हैं उनसे कुछ लोगों को जलन हो सकती है इसलिए सावधानी बरतने की जरूरत है।
इसके अलावा सोय मोम की मांग भी बढ़ती जा रही है। इसे आसानी से इस्तेमाल किया जा सकता है। ये सोयाबीन से बन होता है। साथ ही यह पर्यावरण के अनुकूल मोमबत्तियाँ कैसे व्यापार करें है और स्वाभाविक रूप से इसका नवीनीकरण हो सकता है। ये भी कहा जाता है कि सोय मोम अन्य मोम की तुलना में धीमे जलता है। वहीं मधुमोम (Beeswax) भी बाजार में मिलता है। इसमें खास बात ये होती है कि ये वायुमंडल को साफ करने का गुण रखता है।
बच्चों को दूर ही रखें
mombatti banane ka tarika - घर पर मोमबत्ती बनाने के लिए आप ये सुनिश्चित कर लें कि आपके आसपास ऐसा कोई आग पकड़ने वाला सामान आस-पास न रखा हो। इसके साथ ही अखबार, पोलीथीन, कागज, या तौलिये उस जगह पर रखने होंगे जहां आप मोमबत्ती बनाने जा रहे हैं। बच्चों को दूर ही रखें। वहीं मोम के छलक जाने के स्थिति में सर्फ वाला गर्म पानी भी पास में बनाकर रखें।
अब मोम को छोटे टुकड़ों में करिए। इसके लिए ग्रेटर से मोम को घिस लीजे।
इसके बाद अब एक डबल बॉयलर को तैयार कीजे। मोमबत्ती के मोम को सीधी आंच पर नहीं रखना चाहिए। मोम को धीरे धीरे पिघलाना होता है। ज्यादा तेज आंच में भी एकदम से नहीं डालना चाहिए। नहीं तो उसमें आग लग जाएगी या वह वाष्पीभूत होने लगती है। जिससे खतरा भी है।
अब एक बड़े बर्तन को पानी से करीब आधा भरिए। इस बड़े बर्तन में एक छोटा बर्तन रखिए। बता दें, यह छोटा बर्तन वही होगा जिसमें आप मोम पिघलाएंगे। इन बातों के बीच ध्यान रखने वाली बात ये है कि मोम को साफ करना कठिन होता है। मोमबत्तियाँ कैसे व्यापार करें इसलिए किसी बेकार बर्तन में ही मोम पिघलाइये। लेकिन जो सुरक्षित हो।
ये होना चाहिए तापमान
बता दें, पैराफीन मोम को 122 से 140 डिग्री फ़ैरनहाइट (50 से 60 डिग्री सेंटीग्रेड) तक गर्म कर पिघलाना चाहिए।
इसके अलावा सोय मोम को उस समय तक पिघलाना चाहिए जब तक वह 170 से 180 डिग्री फ़ैरनहाइट (76.6 से 82.2 डिग्री सेंटीग्रेड) तक न पहुँच जाये।
और मधूमोम को तब तक पिघलाना चाहिए जब तक कि मोमबत्तियाँ कैसे व्यापार करें वह लगभग 145 डिग्री फ़ैरनहाइट (62.7 डिग्री सेंटीग्रेड) तक न पहुँच जाये।
बेकार पड़ी पुरानी मोमबत्तियों को लगभग 185 डिग्री फ़ैरनहाइट (85 डिग्री सेंटीग्रेड) पर पिघलाना चाहिए। पुराने धागों को निकाल दीजे।
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